रास्ते अगर चट्टानी थे, तो इरादे हमारे फौलादी थे :- जांजगीर-चांपा जिले के मालखरौदा विकासखंड के गांव पिहरीद में बोरवेल में फंसे 11 वर्षीय बालक राहुल साहू के सफल रेस्क्यू पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राहुल के शीघ्र स्वास्थ्य लाभ की कामना की है। स्वास्थ्य परीक्षण के लिए राहुल को ग्रीन कॉरीडोर बनाकर बिलासपुर के अपोलो अस्पताल के लिए रवाना किया गया है। Country’s biggest rescue operation successful, after 104 hours Rahul Sahu trapped in borewell was rescued out…see exclusive photo video
रेस्क्यू ऑपरेशन बहुत चुनौतीपूर्ण था
मुख्यमंत्री श्री बघेल ने कहा कि लगभग 105 घंटे तक बोरवेल में फंसे होने के बावजूद राहुल ने बहुत हिम्मत दिखाई। यह रेस्क्यू ऑपरेशन बहुत चुनौतीपूर्ण था, जिसे बचाव दलों ने बहुत धैर्य, समझदारी और साहस के साथ पूरा कर लिया है।
श्री बघेल ने कहा कि एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, एसईसीएल, छत्तीसगढ़ राज्य पुलिस, भारतीय सेना, चिकित्सा दल और प्रशासनिक अधिकारियों समेत बचाव दल में शामिल हर टीम और हर व्यक्ति ने संयुक्त रूप से कर्त्तव्यनिष्ठा का पालन करते हुए राहुल को बोरवेल से निकालने का दुष्कर कार्य कर दिखाया।
एक सांप आ गया था लेकिन राहुल….
बचाव दल को देखकर राहुल ने प्रसन्नता जाहिर की और अपनी आंखें खोली है। इस ऑपरेशन में एक चौंका देने वाली घटना घटी, आज शाम उस बोरवेल में एक सांप आ गया था लेकिन राहुल की जीवटता से वह खतरा भी टल गया।
5 दिनों तक बोरवेल के गड्ढे में फसे रहना कोई आम बात नहीं …
104 घंटे के अथक प्रयास के बाद बोरवेल के गड्ढे में फंसे राहुल को बाहर निकाल लिया गया है। इस दुष्कर कार्य में जितनी मेहनत रेस्क्यू टीम ने की उतना ही साहस राहुल ने भी दिखाया है।
5 दिनों तक बोरवेल के गड्ढे में फसे रहना कोई आम बात नहीं है। संकट की घड़ी में बहादुर बच्चे की जिजीविषा काबिले तारीफ है।जितने धैर्य से बचाव दल ने काम किया,राहुल भी उतनी ही हिम्मत से बोरवेल के अंदर डटा रहा,जिससे रेस्कयू टीम को संबल मिला।